किसी देश की मुद्रा क्या है

23 दिसंबर 2022 को भारत में राष्ट्रीय किसान दिवस धूमधाम के साथ मनाया जाएगा I
सुप्रीम कोर्ट से बोले पी. चिदंबरम, 2016 की नोटबंदी थी गंभीर रूप से त्रुटिपूर्ण
कांग्रेस के नेता और वरिष्ठ वकील पी. चिदंबरम ने 500 और 1000 रुपये के नोटों का विमुद्रीकरण के विरोध में दायर की गई याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट को अपनी दलील में कहा कि सरकार द्वारा लिया गया नोटबंदी का फैसला गंभीर रूप से त्रुटिपूर्ण था.
नई दिल्ली: वरिष्ठ वकील और कांग्रेस नेता पी. चिदंबरम ने गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट को बताया कि 500 रुपये और 1000 रुपये के नोटों का विमुद्रीकरण (नोटबंदी) 'गंभीर रूप से त्रुटिपूर्ण' था. न्यायमूर्ति एस.ए. नजीर की अध्यक्षता वाली पांच न्यायाधीशों की पीठ, जिसमें न्यायमूर्ति बी.आर. गवई, ए.एस. बोपन्ना, वी. रामासुब्रमण्यम और बी.वी. नागरत्ना शामिल हैं, नोटबंदी पर केंद्र के 2016 के फैसले को चुनौती देने वाली कई याचिकाओं पर सुनवाई कर रही है.
याचिकाकर्ताओं में से एक का प्रतिनिधित्व करने वाले चिदंबरम ने कहा कि नोटबंदी ने देश के प्रत्येक नागरिक को प्रभावित किया. उन्होंने करेंसी नोटों के विमुद्रीकरण के लिए भारतीय रिजर्व बैंक अधिनियम की धारा 26 को लागू करने की केंद्र की शक्ति पर भी सवाल उठाया. उन्होंने कहा कि केंद्र अपने दम पर कानूनी टेंडर से संबंधित किसी भी प्रस्ताव को अमल में नहीं ला सकता, ऐसा सिर्फ आरबीआई की केंद्रीय बोर्ड की सिफारिश पर किया जा सकता है.
GK Trick – कौन-कौन-सी देश की मुद्रा डॉलर हैं
नमस्कार दोस्तो, अक्सर प्रतियोगी परीक्षा में प्रश्न आते रहते है कि कौन सी मुद्रा किस देश की है ! तो दोस्तो हम रुपया मुद्रा बाले देशों की ट्रिक आपको पहले ही बता चुके है ! अब हम आपको ऐसी ट्रिक बताऐंगें जिससे कि आप डालर मुद्रा बाले देशों को आसानी से याद रख पाऐंगें !
तो चलिये शुरू करते है –
GK TRICK
सीता जी वन से कहाँ आए
Explaination
सी – सिंगापूर
ता – ताइवान
जी – जिम्बाबे
व – वरमुडा
न – न्यूजीलैंड
से – सेंटलुइश
क – कनाडा
हाँ – हांगकांग
आ – ऑस्ट्रेलिया
ए – अमेरिका
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डिजिटल करेंसी/मुद्रा क्या है, निबंध, फायदे, नुकसान (Digital Currency in Hindi)
डिजिटल क्षेत्र में आज भारत किसी भी देश से कम नहीं। 2015 का वह साल था जब भारत ने पहली बार डिजिटल इंडिया कैंपेन की शुरुआत किसी देश की मुद्रा क्या है की थी। डिजिटल प्लेटफॉर्म्स को अपनाने वाले तब और अब के भारत में काफी अच्छा बदलाव देखने को मिला है। 2015 से लेकर 2022 तक के सफर में भारत ने डिजिटल प्लेटफार्म में अपनी एक अलग ही पहचान बना ली है। शॉपिंग, बिल भरने से लेकर बिजनेस करने तक, भारत डिजिटल बन चुका है। पिछले कुछ सालों में भारत डिजिटली बहुत प्रगति कर चुका है। ऐसे बहुत सारे स्कीम्स डिजिटल हो चुके हैं जैसे BHIM UPI, DIGI LOCKER, CoWIN, Aadhar, GEMS इत्यादि। इन सभी डिजिटल प्लेटफॉर्म्स ने भारत के नागरिकों के कामों को काफी आसान कर दिया है। अब भारत बैंकिंग के क्षेत्र में भी एक बहुत बड़ा बदलाव लाने की कोशिश कर रही है। यह बदलाव भारत की सरकार, रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया के साथ मिलकर डिजिटल करेंसी यानी डिजिटल मुद्रा को किसी देश की मुद्रा क्या है लाकर करना चाहती है। तो क्या है डिजिटल करेंसी और यह किस तरह भारत के लोगों के पैसों को एक डिजिटल प्लेटफार्म में बदल देगी? यह आर्टिकल आपको डिजिटल करेंसी/मुद्रा से जुड़ी सभी जानकारी देगा।
डिजिटल करेंसी/मुद्रा क्या है (What is Digital Currency)
जब किसी देश के नगदी रुपयों को डिजिटल सिस्टम में स्टोर किया जाता है और उसे इलेक्ट्रॉनिक रूप से इस्तेमाल किया जाता है उसे हम डिजिटल करेंसी कहते हैं। इसे आप ऐसे समझ सकते हैं जैसे आप ही के पैसों का एक इलेक्ट्रॉनिक रूप जैसे आपके पैसों या किसी भी एसिड का इलेक्ट्रॉनिक टोकन या किसी अन्य इलेक्ट्रॉनिक प्लेटफार्म में इस्तेमाल किया जाने वाला। डिजिटल मुद्रा देश के नागरिकों और बैंकिंग सेक्टर ओं को ऐसा मौका देगा जिससे पैसों को लेकर सब कुछ इलेक्ट्रॉनिक होता हुआ नजर आएगा जैसे बैंकों में लंबी लाइन नहीं लगानी पड़ेगी और बस इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस पर मिनटों में ही उनका पैसा स्टार्ट हो जाएगा या फिर वह कुछ ही मिनटों में अपना पैसा कहीं पर भी इस्तेमाल कर सकेंगे।
भारत की फाइनेंस मिनिस्टर के नेतृत्व में रिजर्व बैंक ऑफ किसी देश की मुद्रा क्या है इंडिया की बैठक हुई जिसमें डिजिटल करेंसी के ऊपर चर्चा की गई थी। चर्चा में भारत सरकार ने सेंट्रल बैंक से डिजिटल करंसी की शुरुआत करने की बात रखी। फाइनेंस मिनिस्ट्री ने सेंट्रल बैंक को डिजिटल करंसी लाने का सुझाव दिया जिससे लोग पैसों को डिजिटली इस्तेमाल कर सकें। भारतीयों का क्रिप्टो करेंसी के तरफ बहुत ज्यादा झुकाव को लेकर सरकार ने यह तय किया है कि रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया एक ऐसा तरीका लेकर आए जिससे भारत के लोग अपने पैसों को डिजिटली इस्तेमाल कर सकें और डीजिटली कमा सकें। एक ऐसा तरीका जिससे लोगों का समय भी बच्चे और उनका पैसा सलामत भी रहे और साथ ही साथ यह देश डिजिटल उपकरणों को लेकर स्मार्ट बनें।
विदेशों में डिजिटल करेंसी की लहर (Digital Currency in Abroad)
पूरे विश्व में 86% सेंट्रल बैंक ऐसे हैं जैसे ब्रिटेन की बैंक, चाइना की बैंक, अमेरिका की बैंक जो अपने कन्वेंशनल पैसों को बदलना चाह रही हैं यानी उन्हें बदलकर इलेक्ट्रॉनिक/डिजिटल बनाना चाह रही हैं। इस विषय पर कितने प्रतिशत देश काफी चर्चा कर रही है और इस पर काफी खोजबीन भी कर रही है।आपको बता दें कि पूरे विश्व में अब तक 14% सेंट्रल बैंक ने तो पायलट प्रोजेक्ट्स भी शुरू कर दिया है। उन देशों के सेंट्रल बैंक ने डिजिटल करेंसी पर अपना काम करना भी शुरू कर दिया है।
यह तो हम सभी जानते हैं कि किसी भी नई चीज के आने से जितना उस चीज का फायदा होता है उतना ही वह अपने साथ कुछ नुकसान भी लेकर आती है। ठीक उसी तरह यदि डिजिटल करेंसी देश के लिए काफी अच्छा बदलाव साबित होगी तो वह अपने साथ कुछ नुकसान भी लेकर आएगी जैसे यह डिजिटल मुद्रा के कुछ नुकसान हो सकते हैं:
2022 का यूनियन बजट संसद में 1 फरवरी, 2022 को पेश किया गया। भारत की वित्त मंत्री ‘निर्मला सीतारमण’ ने बजट के दौरान यह एलान किया कि वर्ष 2022-2023 में डिजिटल करेंसी की शुरुआत होगी। वित्त मंत्री ने यह भी कहा कि जो भारतीय क्रिप्टो करेंसी में निवेश कर रहे हैं उन्हें 30 फ़ीसदी टैक्स का भुगतान करना पड़ेगा। भारत सरकार आरबीआई यानी रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया के साथ डिजिटल करेंसी को लॉन्च करने की तैयारी कर रही है। बजट सेशन के दौरान वित्त मंत्री ने अपनी बात रखी कि सेंट्रल बैंक डिजिटल करंसी भारत की अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देगा। इससे भारत एक सस्ते एवं कुशल करेंसी सिस्टम की ओर बढ़ेगा।
माना जा रहा है कि भारत में लाई जाने वाली डिजिटल करेंसी दुनियाभर में प्रचलित क्रिप्टो करेंसी और बिटकॉइन की तरह ही उपयोग की जाएगी। इसमें फर्क सिर्फ इतना होगा कि डिजिटल करेंसी सरकारी करेंसी होगी। इस पर सरकारी यानी कानून का मोहर होगा। डिजिटल करेंसी किसी देश की मुद्रा क्या है को कैसे उपयोग करें, इसकी गाइडलाइंस रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया द्वारा जारी की जाएगी। डिजिटल करेंसी को ब्लॉकचेन और अन्य टेक्नोलॉजी की मदद से इंट्रोड्यूस किया जाएगा जिसे रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया जारी करेगी।
डेनमार्क देश की मुद्रा क्या है
Denmark ki currency नमस्कार दोस्तों, अगर हम किसी ऐसे देश के बारे में सोचते है जिसके दोनों तरह सागर और झीले हो, हो हमारे दिमाग में सबसे पहले डेनमार्क देश का ही नाम आता है। अगर आप इस देश में घूमने का प्लान बना रहे है तो ऐसे में आपको सबसे पहले इस देश की मुद्रा के बारे में जानना जरुरी है।
क्या आपको पता है की डेनमार्क की मुद्रा क्या है ? नही ना! आपको हम इसी के बारे में इस लेख में बता रहे है। आईये जानते है इसके बारे में विस्तार से –
Table of Contents
Denmark Ki Currency
दोस्तों, अगर हम बात करे इस देश की मुद्रा की तो डेनमार्क देश की मुद्रा डेनिश कोर्ने है। यह मुद्रा भारत की मुद्रा से कोई ख़ास ज्यादा बढ़ नही है, बल्कि यह थोड़ी सी ही मजबूत है।
डेनमार्क की मुद्रा भारत से लगभग 10 रूपये बढ़त में है। एक डेनिश कोर्ने भारतीय 10 रुपयों के बराबर है। भारत की मुद्रा से यह थोड़ी सी ही मजबूत है ज्यादा नही।
भारत की मुद्रा बनाम डेनमार्क की मुद्रा
अगर दोस्तों आप इसके बारे में सोच रहे है की भारत की मुद्रा और डेनमार्क की मुद्रा में कितना अंतर है तो इसके बारे में आपको बता देते है की इन दोनों मुद्रा के बीच में कोई ख़ास अंतर नही है। दोनों देश की करेंसी में लगभग 10 रुपयों का अंतर है।
अगर आप कभी भी डेनमार्क जाने का मन बना रहे है तो ऐसे में आपको इसके बारे में यह जानना होगा की आपका जितना भी बजट है उसका 10 गुना बजट बढ़ा कर फिर वहा जाना होगा।
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राष्ट्रीय किसान दिवस क्यों मनाया जाता हैं?
राष्ट्रीय किसान दिवस क्यों मनाया जाता है आपके मन में सवाल आ रहा होगा तो मैं आपको बता दें कि दरअसल 23 दिसंबर को भारत के पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह का जन्मदिन है उनके जन्मदिन को ही किसान दिवस के रूप में मनाया जाता है चौधरी चरण सिंह ने किसानों के हित के लिए अनेकों प्रकार के लॉक हितकारी योजना का संचालन किया चौधरी चरण सिंह ऐसे प्रधानमंत्री थे जिन्होंने किसानों के उत्थान के लिए कई काम किए यही वजह है कि चौधरी चरण सिंह के जन्मदिन को किसान दिवस के रूप में भारत में मनाया जाता है और किसान दिवस मनाने की परंपरा 2001 से शुरू हुई जो आज तक हर्षोल्लास के साथ मनाया जा रहा है और भविष्य में भी परंपरा का अनुसरण किया जाएगा
भारत में किसानों का योगदान अतुल्य और स्मरणीय है जिसे शब्दों में बयान कर पाना किसी भी व्यक्ति के लिए संभव नहीं है भारत दुनिया की आज की तारीख में पांचवी बड़ी अर्थव्यवस्था है और अर्थव्यवस्था में कृषि का सबसे अधिक योगदान होता है क्योंकि देश में जाने वाले जितने भी नागरिक हैं उन्हें भोजन की खाद्य सामग्री कृषि के कामों से ही प्राप्त होती है ऐसे में अगर किसी भी देश में किसान ना हो तो उस देश के नागरिकों का जीवन खतरे में पड़ जाएगा और साथ में देश की अर्थव्यवस्था भी काफी नीचे चली जाएगी भारत आज दुनिया का एक उभरता हुआ कृषि आधारित अर्थव्यवस्था है यहां पर 60% जनसंख्या कृषि के कामों में लगी हुई है
National Farmers Day 2022
National Farmers Day इस दिसंबर 2022 को भारत में काफी धूमधाम और हर्षोल्लास के साथ मनाया जाएगा इस दिन कई प्रकार के कृषि संबंधित कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे जिसमें भारत के सभी राज्यों के बड़े और छोटे किसान सम्मिलित होकर किसान दिवस के महा उत्सव को काफी आनंद और उत्साह के साथ मनाएंगे
भारत सरकार की किसान संबंधित कई प्रकार की योजना का संचालन आज देश भर में किया जा रहा है उन सभी योजनाओं का विवरण हम आपको नीचे बिंदुसार दे रहे हैं आइए जानते हैं
- किसान क्रेडिट कार्ड योजना
- बीज योजना
- किसान सम्मान निधि योजना
- पीएम किसान मानधन योजना
- राष्ट्रीय कृषि विकास योजना
- प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना
- प्रधानमंत्री सोलर योजना
- अन्य किसान योजनाएं
किसान दिवस आयोजन National Farmers Day celebrate
Kisan Diwas 2022 का आयोजन देश भर में 23 दिसंबर को काफी धूमधाम और हर्षोल्लास के साथ आयोजित किया जाता है जिसमें भारत के प्रत्येक राज्य के किसान सम्मिलित होकर किसान दिवस के संबंध में अपने विचार लोगों के सामने रखते हैं इसके अलावा कई जगह पर किसान जागरूकता रैली आयोजित की जाती है जिसमें लोगों को किसानों के भारत के आर्थिक विकास में क्या योगदान है उसके बारे में लोगों को जागृत किया जाता है इसके अलावा इस रैली में आम जनता भी बढ़-चढ़कर भाग लेती है ताकि हम उन किसानों को भी अपनी सच्ची श्रद्धांजलि अर्पित कर सके जिन्होंने कृषि संबंधित कार्य में अपना पूरा जीवन समर्पित कर दिया
इस दिन भारत के पांचवें प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह को भी सुमन अर्पित कर कर सच्ची श्रद्धांजलि दी जाती किसी देश की मुद्रा क्या है है क्योंकि चौधरी चरण सिंह को किसानों का नेता कहा जाता है उन्होंने किसानों के हित के लिए जितना काम किया शायद ही भारत के राजनीतिक में किसी प्रधानमंत्री ने किया होगा यही वजह है कि उनके जन्मदिन को भारत में किसान दिवस के रूप में मनाया जाता है I
FAQ’s Kisan Diwas 2022
Q. किसान दिवस कब मनाया जाता है?
Ans. 23 दिसंबर 2022
Q. किसान दिवस क्यों मनाया जाता है?
Ans. किसान दिवस चौधरी चरण सिंह के जन्मदिन के उपलक्ष में मनाया जाता है I
Q. किसान दिवस भारत में सबसे पहले कब मनाया गया था?
Ans. किसान दिवस सबसे पहले 2001 में बनाया गया था उस समय के तत्कालीन सरकार ने इस बात की घोषणा की कि चौधरी चरण सिंह के जन्मदिन को अब से भारत में किसान दिवस के रुप में मनाया जाएगा I